पांच लाख महिलाएं 3800 से अधिक स्थलों पर हैंड वाशिंग अभियान से जुड़ीं
स्वच्छता के गांधी जी के मंत्र को अपनाकर कोरोना की जंग जीतेगा गुजरातः सीएम
राज्यभर में 835 नंदघर का मुख्यमंत्री ने किया ई-लोकार्पण व
शिलान्यास,
आंगनवाड़ी कार्यकर्ता व सहायिका बहनों को माता यशोदा अवार्ड से नवाजा
मुख्यमंत्री
श्री विजय रूपाणी ने 151वीं गांधी जयंती को राष्ट्रीय स्वच्छता दिवस के रूप में पूरे
राज्य में मनाने के लिए 3800 से अधिक स्थानों पर पांच लाख बहनों के हैंड वाशिंग यानी
हाथ धुलाई अभियान के अभिनव प्रयोग का वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए शुभारंभ कराया।
मुख्यमंत्री
ने कहा कि ‘जहां स्वच्छता है वहां ईश्वर का वास है’ के महात्मा गांधी के मंत्र को
कोरोना संक्रमण काल में अपनाकर हैंड वाशिंग, हाथ सैनिटाइज करना, मास्क का उपयोग
करना और सामाजिक दूरी के नियमों की पालना करते हुए कोरोना के खिलाफ जंग हमें जीतनी
है।
उन्होंने
कहा कि स्वच्छता के प्रति महात्मा गांधी का आग्रह पूरे जीवन काल रहा। यही नहीं,
उन्होंने आजादी और स्वच्छता में से किसी एक के चुनाव की स्थिति पर स्वच्छता को
अपनी पहली पसंद करार दिया।
श्री
रूपाणी ने स्वच्छता से प्रभुता और स्वच्छता में ही ईश्वर का वास बताते हुए कहा कि
ईश्वर अर्थात कल्याण और स्वच्छता के जरिए ही कल्याण भाव साकार होता है।
उन्होंने
कहा कि हमारे प्रधानमंत्री ने इन्हीं आदर्शों पर चलकर स्वच्छ भारत अभियान की
शुरुआत की थी और दुनिया में भारत की छवि स्वच्छ राष्ट्र के तौर पर उजागर की है।
मुख्यमंत्री
ने इसी स्वच्छता के भाव की आज के वर्तमान दौर में आवश्यकता की सीख देते हुए हैंड
वाशिंग अभियान को सही समय पर सही कार्य करार दिया।
उन्होंने
विश्वास जताया कि गुजरात की नारी शक्ति का यह अभिनव अभियान कोरोना के खिलाफ लंबी
लड़ाई में जीत हासिल करेगा।
उन्होंने
कहा कि कोरोना को पराजित करने में यह अभियान सभी को नई प्रेरणा देगा और ग्रामीण
क्षेत्रों तक जनजागरूकता पैदा करने वाला साबित होगा।
मुख्यमंत्री
ने महिला एवं बाल विकास विभाग की ओर से आयोजित इस कार्यक्रम के अंतर्गत 59 करोड़
87 लाख रुपए की लागत से नवनिर्मित और आकार लेने वाले 835 नंद घर और विभिन्न सेजा
केंद्रों का ई-लोकार्पण और शिलान्यास किया।
उन्होंने
राज्य की आंगनवाड़ी नंद घर में विभिन्न ढांचागत सुविधाओं की निगरानी के नंद घर
इंफॉर्मेशन ट्रैकिंग एप्लीकेशन (नीता) और डैशबोर्ड की ई-लॉन्चिंग भी गांधीनगर से
की।
मुख्यमंत्री
ने राज्य की आंगनवाड़ी-नंदघर में बच्चों की देखभाल करने वाली कार्यकर्ता और
सहायिका बहनों की श्रेष्ठता का सम्मान कर राज्यस्तरीय माता यशोदा अवार्ड दो बहनों
को तथा पांच व्यक्ति विशेष को महिला पुरस्कार से सम्मानित किया।
आंगनवाड़ी
कार्यकर्ता बहनों को फ्रंटलाइन वॉरियर्स के तौर पर नवाजते हुए उन्होंने कहा कि इन
बहनों की सेवाएं बधाई के पात्र है।
श्री
रूपाणी ने महिला शक्ति के गौरव और सम्मान की हमारी परंपरा में स्त्री दाक्षिण्य के
समाहित होने का विशेष उल्लेख किया।
मुख्यमंत्री
ने कहा कि राज्य सरकार ने माता-बहनों के सर्वग्राही उत्कर्ष, कल्याण और महिला
सुरक्षा के उपायों पर विशेष ध्यान केंद्रित कर गांधी, सरदार साहेब और नरेन्द्रभाई
के गुजरात की प्रतिष्ठा को और भी उन्नत बनाया है।
उन्होंने
स्वच्छ-स्वस्थ भारत, सही पोषण-देश रोशन के विभिन्न संकल्पों को साकार करने वाले
अवसर को सफलतापूर्वक राज्य में संपन्न करने के लिए विभाग को बधाई दी।
महिला
एवं बाल विकास मंत्री श्री गणपतसिंह वसावा ने भरोसा जताया कि कोरोना संक्रमण के
खिलाफ नारी शक्ति की जागरूकता का यह प्रयोग नई दिशा दिखाएगा।
उन्होंने
कोरोना काल में आंगनवाड़ी बहनों द्वारा 25 लाख मास्क का वितरण करने और 50 हजार
लोगों को आरोग्य सेतु एप डाउनलोड करने में मदद करने की सराहना की।
राज्य
के जिला और तहसील स्थानों पर उप मुख्यमंत्री श्री नितिनभाई पटेल सहित राज्य
मंत्रिमंडल के सदस्यों और पदाधिकारियों ने जिलास्तर के माता यशोदा अवार्ड प्रदान
किए।
महिला
एवं बाल विकास विभाग की सचिव श्रीमती मनीषा चंद्रा ने स्वागत भाषण में कार्यक्रम
के बारे में जानकारी दी जबकि एकीकृत बाल विकास योजना (आईसीडीएस) निदेशक श्री अशोक
शर्मा ने आभार व्यक्त किया।
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